Tuesday, 7 January 2014

देहरादून एक्सप्रेस (19019) में 2:30 बजे महाराष्ट्र के घोलवड़ स्टेशन के पास लगी आग, 9 यात्रियों की मौत हेल्पलाइन नंबर:022-23011853 और 022-23007388, देहरादून-0135-2624002, 2624003 इनमें से पाँच मृतकों की शिनाख्त दीपिका शाह,देव शंकर उपाध्याय, सुरेन्द्र शाह,नासिरख़ान अहमदख़ान पठान और फिरोज़ ख़ान


देहरादून एक्सप्रेस (19019) में 2:30 बजे महाराष्ट्र के घोलवड़ स्टेशन के पास लगी आग, 9 यात्रियों की मौत हेल्पलाइन नंबर:022-23011853 और 022-23007388, देहरादून-0135-2624002, 2624003
इनमें से पाँच मृतकों की शिनाख्त दीपिका शाह,देव शंकर उपाध्याय, सुरेन्द्र शाह,नासिरख़ान अहमदख़ान पठान और फिरोज़ ख़ान

Wed, 08 Jan 2014 13:16 PM DELHI
 

देहरादून एक्सप्रेस में आग, नौ की मौत

 बुधवार, 8 जनवरी, 2014 को 13:03 IST तक के समाचार

ट्रेन में आग
मुंबई से देहरादून जा रही देहरादून एक्सप्रेस में बुधवार तड़के आग लगने से नौ यात्रियों की मौत हो गई.
रेलवे के प्रवक्ता शरद चंद्रायन ने  बताया कि मुंबई और सूरत के बीच घोलवड स्टेशन के पास बुधवार को तड़के क़रीब ढाई बजे यह हादसा हुआ.
उन्होंने बताया कि देहरादून जा रही इस ट्रेन के तीन डिब्बों में आग लग गई जिसमें चार पुरुषों और एक महिला की धुंए के कारण दम घुटने से मौत हो गई.
अन्य चार लोगों के शव बचाव कार्य के दौरान बुरी तरह जली हुई अवस्था में मिले.

इनमें से पाँच मृतकों की शिनाख्त 
दीपिका शाह, 
देव शंकर उपाध्याय, 
सुरेन्द्र शाह, 
नासिरख़ान अहमदख़ान पठान 
और फिरोज़ ख़ान ...........................के रूप में हुई है.
रेलवे प्रवक्ता के अनुसार बचाव कार्य पूरा हो चुका है.

क़ाबू

प्रवक्ता ने कहा कि बांद्रा टर्मिनस और देहरादून के बीच चलने वाली इस ट्रेन में लगी आग पर दो घंटे में क़ाबू पा लिया गया था.
उन्होंने कहा कि आग ट्रेन के एस-3 और एस-4 के बीच से शुरू हुई लेकिन इसके कारणों का अभी पता नहीं चल पाया है.
रेलवे ने एक बयान में बताया कि यह हादसा मुंबई-सूरत सेक्शन पर दहानू रोड और घोलवड स्टेशनों के बीच हुआ.
घोलवड स्टेशन पर एक गेटमैन ने स्टेशन मास्टर को ट्रेन में आग लगे होने की सूचना दी जिसके तुरंत बाद ट्रेन को रोक दिया गया.

जाँच के आदेश

वलसाड और मुंबई से मेडिकल टीमों को घटनास्थल पर भेजा गया. साथ ही मुंबई सेंट्रल डिवीजन के डीआरएम और अन्य अधिकारी भी घटनास्थल पर पहुँचे.
दमकल विभाग की गाड़ियों और तीन एंबुलेंसों को भी घटनास्थल पर भेजा गया. आग से प्रभावित डिब्बों को ट्रेन से अलग किया गया. बाक़ी छह डिब्बों को साढ़े पाँच बजे रवाना कर दिया गया.
वलसाड में इस ट्रेन में पाँच और डिब्बे जोड़कर इसे आगे भेज दिया गया. इस खंड पर रेल यातायात को सुबह क़रीब पौने सात बजे बहाल कर दिया गया.
इस बीच रेल मंत्री मल्लिकार्जुन खड़गे ने हादसे में यात्रियों की मौत पर दुख व्यक्त जताते हुए मृतकों के परिजनों को पांच-पांच लाख रुपए का मुआवज़ा देने की घोषणा की.
साथ ही उन्होंने इस हादसे की जाँच के भी आदेश दिए हैं.
 
 


 
देहरादून एक्सप्रेस में लगी आग, 9 यात्रियों की मौत
मुंबई। बांद्रा (मुंबई) से चलकर देहरादून जा रही देहरादून एक्सप्रेस (19019) में महाराष्ट्र के घोलवड़ स्टेशन के पास आग लग गई। ट्रेन के तीन स्लीपर कोच में आग लगी, जिसमें एक महिला समेत नौ यात्रियों की मौत हो गई। हालांकि आग पर काबू पा लिया गया है।
देहरादून एक्सप्रेस रात को 12:05 बजे बांद्रा से छूटती है। तकरीबन 2:30 बजे ट्रेन गुजरात सीमा के पास डहाड़ू से आगे निकली थी कि तभी क्त्रॉसिंग पर खड़े गेटमैन ने देखा कि ट्रेन में आग लगी है। गेटमैन की सूचना पर गाड़ी को रोककर बचाव कार्य शुरू किया गया। अगर गेटमैन की नजर ट्रेन में लगी आग पर नहीं पड़ती तो हादसा और बड़ा हो सकता था। बताया जा रहा है कि यात्रियों की मौत दम घुटने से हुई है, लेकिन आग लगने के कारणों का पता अभी तक नहीं चला है।

हेल्पलाइन नंबर
फिलहाल आग पर काबू पा लिया गया है। रेलवे की तरफ से दुर्घटना के संबंध में जानकारी करने के लिए ये 022-23011853 और 022-23007388, देहरादून-0135-2624002, 2624003 हेल्पलाइन नंबर जारी किए गए हैं। रेलवे की तरफ से मरने वाले के संबंधियों के 5-5 लाख रुपये मुआवजा देने की घोषणा की गई है।

गौरतलब है कि 15 दिनों के अंदर ट्रेन में आग लगने की यह दूसरी घटना है। इससे पहले 28 दिसंबर को बेंगलूर से नांदेड़ जा रही नांदेड़ एक्सप्रेस में आग लगने के कारण 26 लोगों की मौत हो गई थी। हादसे में करीब 9 लोग बुरी तरह से झुलस गए थे। यह दुर्घटना ट्रेन नंबर 16594 के सेकंड एसी कोच में हुई थी।


कब-कब हुए कुछ बड़े रेल हादसे- 23 फरवरी 1985 को मध्यप्रदेश में राजानंदगांव एक्सप्रेस में आग से 50 से ज्यादा लोगों की मौत।
- 16 अप्रैल 1990 को पटना में शटल ट्रेन में आग लगने से 70 लोगों की मौत।
- 10 अक्टूबर 1990 को आंध्रप्रदेश के निकट चेरापल्ली में ट्रेन में आग लगने से 40 लोगों की मौत।
- 26 अक्टूबर 1994 को मुंबई-हावडा मेल में आग लगने से 27 लोगों की मौत।
- 15 मई 2003 को गोल्डन टेम्पल मेल में आग लगने से 36 लोगों की मौत।
- 18 अगस्त 2006 को चेन्नई-हैदराबाद एक्सप्रेस में आग, कोई हताहत नहीं।
- 18 अप्रैल 2011 को मुंबई-दिल्ली राजधानी एक्सप्रेस में आग। रेलवे की सावधानी के चलते कोई यात्री हताहत नहीं हुआ।
- 12 जुलाई 2011 को नई दिल्ली-पटना राजधानी एक्सप्रेस में आग।
- 22 नवंबर 2011 को हावड़ा-देहरादून एक्सप्रेस में आग, 7 लोगों की मौत।

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