अंजना ओम कश्यप(आजतक) अब तो आपको ‘औकात’ का पता चल गया होगा!
संदर्भ- आजतक,अंजना कश्यप,आशीष खेतान और औकात
मीडिया जनता की आवाज होती है। लेकिन कोई पत्रकार जब पॉवर, पैसा, रूतबा, रसूख आदि का दम भरकर किसी को बाजारू शब्द प्रयोग कर। प्रताड़ित करता है। बेइज्जत करता है। सार्वजनिक मंच पर अपमानित करता है तब साख प्रताड़ित किये जा रहे व्यक्ति की नहीं उस पत्रकार की गिर जाती है जिसे समाज का आईना माना जाता है।
पत्रकार आम जनता, सरकार, ब्यूरोक्रेट का नुमाइंदा होता है जो मजबूत सेतु का काम करता है। किसी टीवी पत्रकार का अहंकार, घमंड जब सातवें आसमान पर सर चढ़कर बोलता तब उसमे और दबंग नेता,मंत्री, अफसर में कोई फर्क नहीं रहता। आज तक की एंकर अंजना ओम कश्यप ने एक डिबेट में आम आदमी पार्टी के नेता और पूर्व खोजी पत्रकार आशीष खेतान को बेइज्जत किया था। उनसे उनकी औकात पूछी.
आशीष खेतान विनयशील, नम्र, जागरूक, अच्छी समझ और सूझबूझ वाले व्यक्तियो में से एक है। पत्रकारिता के तकाजे पर तोला जाए तो अंजना ओम कश्यप से आशीष खेतान का कद कई गुना बड़ा है।
अंजना ओम कश्यप ने पत्रकारिता के पूरे करियर में कोई बड़ी स्टोरी कवर नहीं की है। आशीष खेतान ने कई बड़ी स्टोरी कवर की है। खोजी पत्रकारिता के लिए उसे सम्मानित किया गया है। सामाजिक कार्यकर्ता डॉक्टर नरेंद्र दाभोलकर मर्डर केस के प्लेंचेट पर बड़ा खुलासा आशीष खेतान ने किया था।
कहने का मतलब है कि अंजना ओम कश्यप ने जिस भाषा का प्रयोग खेतान के लिए किया था शायद ही कोई जागरूक पत्रकार ऐसे शब्दों का प्रयोग करता। लोगो ने आप को भारी जीत दिलाई है। तो अब अंजना ओम कश्यप को आशीष खेतान के औकाद का अंदाज़ा लग ही गया होगा. उन्हें ज़रा जमींन पर रहकर बात करना सीखनी चाहिए। यह पब्लिक है सब जानती है।
मीडिया जनता की आवाज होती है। लेकिन कोई पत्रकार जब पॉवर, पैसा, रूतबा, रसूख आदि का दम भरकर किसी को बाजारू शब्द प्रयोग कर। प्रताड़ित करता है। बेइज्जत करता है। सार्वजनिक मंच पर अपमानित करता है तब साख प्रताड़ित किये जा रहे व्यक्ति की नहीं उस पत्रकार की गिर जाती है जिसे समाज का आईना माना जाता है।
पत्रकार आम जनता, सरकार, ब्यूरोक्रेट का नुमाइंदा होता है जो मजबूत सेतु का काम करता है। किसी टीवी पत्रकार का अहंकार, घमंड जब सातवें आसमान पर सर चढ़कर बोलता तब उसमे और दबंग नेता,मंत्री, अफसर में कोई फर्क नहीं रहता। आज तक की एंकर अंजना ओम कश्यप ने एक डिबेट में आम आदमी पार्टी के नेता और पूर्व खोजी पत्रकार आशीष खेतान को बेइज्जत किया था। उनसे उनकी औकात पूछी.
आशीष खेतान विनयशील, नम्र, जागरूक, अच्छी समझ और सूझबूझ वाले व्यक्तियो में से एक है। पत्रकारिता के तकाजे पर तोला जाए तो अंजना ओम कश्यप से आशीष खेतान का कद कई गुना बड़ा है।
अंजना ओम कश्यप ने पत्रकारिता के पूरे करियर में कोई बड़ी स्टोरी कवर नहीं की है। आशीष खेतान ने कई बड़ी स्टोरी कवर की है। खोजी पत्रकारिता के लिए उसे सम्मानित किया गया है। सामाजिक कार्यकर्ता डॉक्टर नरेंद्र दाभोलकर मर्डर केस के प्लेंचेट पर बड़ा खुलासा आशीष खेतान ने किया था।
कहने का मतलब है कि अंजना ओम कश्यप ने जिस भाषा का प्रयोग खेतान के लिए किया था शायद ही कोई जागरूक पत्रकार ऐसे शब्दों का प्रयोग करता। लोगो ने आप को भारी जीत दिलाई है। तो अब अंजना ओम कश्यप को आशीष खेतान के औकाद का अंदाज़ा लग ही गया होगा. उन्हें ज़रा जमींन पर रहकर बात करना सीखनी चाहिए। यह पब्लिक है सब जानती है।
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