Monday, 16 December 2013

अन्ना की हालत बिगड़ी, डॉक्टरों ने दी #ICU में भर्ती कराने की सलाह #annahazare

अन्ना की हालत बिगड़ी, डॉक्टरों ने दी #ICU में भर्ती कराने की सलाह #annahazare


नई दिल्ली/रालेगण सिद्धि. केंद्रीय मंत्री शीशराम ओला के निधन की वजह से सोमवार को राज्यसभा में लोकपाल बिल पर बहस नहीं हो सकी। अब यह बहस मंगलवार को होगी। वहीं, लोकपाल के लिए रालेगण सिद्धि में सात दिन से अनशन कर रहे अन्ना हजारे की तबीयत बिगडऩे लगी है। वजन 4.6 किलो कम हो चुका है। यूरिन में किटोन का स्तर तीन हो गया है। यह खतरनाक है। डॉक्टरों ने उन्हें आईसीयू में भर्ती करने की सलाह दी है। लेकिन अन्ना अड़े हैं कि जब तक लोकपाल बिल पारित नहीं होगा, तब तक अनशन करता रहूंगा।
 
लोकपाल को लेकर हो रही बहस से वाकिफ रहने के लिए अन्ना के मंच पर मंगलवार को टीवी लगाया जाएगा। अन्ना ने इच्छा जताई थी कि वह लोकपाल पर हो रही बहस को लाइव देखना चाहते हैं। 
 
राज्यसभा के सभापति हामिद अंसारी ने सोमवार को लोकपाल बिल पर सर्वदलीय बैठक बुलाई थी। सपा, बसपा और द्रमुक के सांसद बैठक में नहीं थे। लेकिन बसपा प्रमुख मायावती पहले ही बिल को समर्थन का ऐलान कर चुकी है। सिर्फ सपा ही विरोध में है। भाजपा सहित एनडीए ने हंगामे के बीच भी बिल को पारित करने पर सहमति दी है। हालांकि, उनका साफ कहना है कि हंगामा कर रहे सांसदों के खिलाफ मार्शलों का इस्तेमाल कतई न किया जाए।
 

सर्वदलीय बैठक के बाद कांग्रेस कोर ग्रुप ने भी लोकपाल बिल पर चर्चा की। इसमें प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह के साथ ही पार्टी की अध्यक्ष सोनिया गांधी एवं अन्य नेता शामिल थे। बैठक के बाद संसदीय कार्य मंत्री कमलनाथ ने कहा कि ‘इस समय लोकपाल बिल पारित करना सरकार की पहली प्राथमिकता है। सरकार बहस के बिना भी बिल पारित करने को तैयार है। हम चाहते हैं कि दोनों सदनों में यह बिल पारित हो जाए।
अन्ना की हालत बिगड़ी, डॉक्टरों ने दी आईसीयू में भर्ती कराने की सलाह
सपा को राजी करने की कोशिशें जारी
 
केंद्रीय मंत्री कमलनाथ ने कहा है कि ‘हम सपा को बिल पर राजी करने की कोशिश कर रहे हैं। सपा अध्यक्ष मुलायम सिंह यादव से संपर्क में हैं।’
वहीं चेन्नई में भाजपा प्रवक्ता निर्मला सीतारमन ने कहा कि ‘सपा यूपीए का एक सहयोगी दल है। उसे बिल पर राजी करने की जिम्मेदारी कांग्रेस की है। इसी वजह से मैं कह रही हूं कि कांग्रेस इस बिल को पारित करने पर गंभीर नहीं है।’ लेकिन सपा अब भी अपने रुख पर कायम है।
सपा नेता रामगोपाल यादव ने कहा कि 'हमारी पार्टी के रुख में कोई बदलाव नहीं आया है।'

अन्ना की हालत बिगड़ी, डॉक्टरों ने दी आईसीयू में भर्ती कराने की सलाह
चूहे को भूल जाओ, शेर को भी जेल पहुंचाएगा लोकपाल: अन्ना 
 
अन्ना हजारे ने आम आदमी पार्टी (आप) के अरविंद केजरीवाल पर निशाना साधा है। अन्ना ने सोमवार को कहा, ‘आप चूहे के बारे में बात कर रहे हैं। मुझे लगता है कि बिल के प्रावधान शेर को भी पकड़ सकते हैं।’ इससे पहले केजरीवाल ने सरकारी लोकपाल बिल का विरोध करते हुए कहा था, ‘मंत्री को तो भूल जाओ, यह लोकपाल तो चूहे को भी जेल में नहीं डाल सकेगा।’ 
 
अन्ना की हालत बिगड़ी, डॉक्टरों ने दी आईसीयू में भर्ती कराने की सलाह
किरण बेदी और केजरीवाल में छिड़ा ट्वीट युद्ध 
 
सरकारी लोकपाल का समर्थन अन्ना हजारे कर रहे हैं। किरण बेदी भी उनके साथ है। आम आदमी पार्टी के अरविंद केजरीवाल ने लोकपाल बिल पर सवाल उठाए तो किरण बेदी ने भी ट्विटर पर ही उनका जवाब दिया। 
केजरीवाल का कहना है कि अन्ना जोकपाल पर सहमत कैसे हो गए वहीं किरण बेदी ने केजरीवाल पर निशाना साधते हुए कहा है कि कि जोकपाल कहने वाले मुद्दा जिंदा रखना चाहते हैं।
केजरीवाल और किरण बेदी के ट्वीट  
 
 
मैं चकित हूं। अन्ना सरकारी लोकपाल को कैसे स्वीकार कर सकते हैं? सरकारी लोकपाल तो एक ‘जोकपाल’ है।’ -(14 दिसंबर को शाम 6:39 बजे) 
‘इस जोकपाल से क्या हासिल हो जाएगा? सीबीआई को स्वतंत्र नहीं किया गया है। सीबीआई सरकार के नियंत्रण में ही काम करती रहेगी।’ 
-(14 दिसंबर को शाम 6:42 बजे) 
 
‘अगस्त 2011 में तीन शर्तों पर सहमति के आधार पर अन्ना ने अनशन तोड़ा था। इस जोकपाल में उनमें से एक भी शर्त नहीं है।’ -(14 दिसंबर को शाम 6:43 बजे) 
 
‘ऐसे में अन्ना इस जोकपाल पर राजी कैसे हो गए? कौन-सी ताकतें उन्हें बरगला रही है? मैं वाकई में दुखी हूं।’ -(14 दिसंबर को शाम 6:46 बजे) 
 
अन्ना जो भी कहें, हम जनलोकपाल बिल पर अपनी आखिरी सांस तक लड़ते रहेंगे। 
-(14 दिसंबर को 6:47 बजे) 
 
‘क्या अन्ना को बरगलाया जा सकता है? उन्हें कौन अच्छे-से जानता है?’ -(14 दिसंबर को रात 10:31 बजे) 
 
‘यह लोकपाल किसी भी तरह से जोकपाल नहीं है। ऐसा कहने वाले इस मुद्दे को जिंदा रखना चाहते हैं। वे भ्रष्टाचार के खिलाफ इसे शुरू नहीं होने देना चाहते।’ -(15 दिसंबर को सुबह 11:02 बजे) 
 
‘बिल और सिलेक्ट कमेटी की सिफारिशों को पढ़े बिना लोकपाल पर किसी भी तरह का बयान देना पूरी तरह से गलत है।’ -(15 दिसंबर को रात 8:05 बजे) 
 
‘ऐसा राजनीतिक नेतृत्व जो सभी अन्य राजनीतिक दलों का विरोध कर रहा है, वह लोकपाल का श्रेय किसी और को क्यों लेने देगा? इससे तो उसकी नींव ही कमजोर हो जाएगी।’ 
-(15 दिसंबर को दोपहर 3:26 बजे) 
 
झाड़ू से धूल हटाई जाती है, अच्छी बातें नहीं! यदि झाड़ू का इस्तेमाल किसी और काम में लिया तो वह अपना महत्व खो देगी!’- (16 दिसंबर को दोपहर 12:21 बजे) 
 

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