Saturday, 21 June 2014

#WorldCup2014 : फ़्रांस ने की गोलों की बौछार :::: हारा इटली लेकिन बाहर हुआ इंग्लैंड, कोस्टा रिका का कमाल, इटली बेहाल

#WorldCup2014 :   फ़्रांस ने की गोलों की बौछार :::: हारा इटली लेकिन बाहर हुआ इंग्लैंड, कोस्टा रिका का कमाल, इटली बेहाल

फ़्रांस ने की गोलों की बौछार

 शनिवार, 21 जून, 2014 को 02:40 IST तक के समाचार

फ़्रांस का गोल
साल्वाडोर में खेले गए ग्रुप ई के मैच में फ़्रांस ने स्विटज़रलैंड के ख़िलाफ़ गोलों की बौछार कर दी.
मैच की शुरुआत से ताबड़तोड़ हमले करते हुए फ़्रांस ने 5-2 से जीत हासिल की और अंतिम 16 में प्रवेश कर लिया.
पूरे मैच में फ़्रांस की टीम छाई रही और स्विटज़रलैंड के पास फ़्रांस के आक्रमण का कोई जवाब नहीं था.
मैच का पहला हाफ़ ज़बरदस्त एक्शन से भरपूर था.
फ़ुटबॉल विशेषज्ञ नोवी कपाड़िया के मुताबिक़, "फ़्रांस इस विश्व कप में ज़बरदस्त तैयारी के साथ आई है. इस मैच में उनकी विविधता इसी बात से पता लगती है कि पांचो गोल अलग-अलग खिलाड़ियों ने और अलग-अलग तरीक़े से किए. अगर उनकी फ़ॉर्म आगे भी ऐसी ही रही तो बाक़ी टीमों के लिए फ़्रांस को रोकना बड़ा मुश्किल हो जाएगा."

फ्रांस का ज़बरदस्त आक्रमण

फ़्रांस
17वें मिनट में फ़्रांस को कॉर्नर मिला जिसे ओलिविए यिवू ने ज़ोरदार हेडर करके गोल किया और फ़्रांस को 1-0 की लीड दिला दी.
स्विटज़रलैंड की टीम इससे संभल भी नहीं पाई थी कि ठीक एक मिनट बाद ब्लेस माट्वीडी ने गोल करके फ़्रांस को 2-0 की बढ़त दिला दी.
स्विटज़रलैंड के खेमे में हलचल मच चुकी थी. पूरी टीम बिखर चुकी थी. फ़्रांस ने ज़बरदस्त काउंटर अटैक की रणनीति अपना रखी थी.
32वें मिनट में उन्हें एक और गोल करने का मौक़ा मिला जब स्विटज़रलैंड के जोहेन डिजोरेयो ने फ़्रांस के स्टार खिलाड़ी करीम बेंज़ेमा को गोल पोस्ट के पास ग़लत तरीके से टेकल किया और रैफ़री ने बिना समय गंवाए फ़्रांस को पेनल्टी दे दी.
लेकिन इस बार बेंज़ेमा की किक को स्विटज़रलैंड के गोलकीपर ने सही पूर्वानुमान लगाते हुए रोक लिया.
फ़्रांस फिर भी नहीं रुका नहीं और आठ मिनट बाद छोटे कद के माटियो वालब्वेना ने ज़बरदस्त काउंटर अटैक के बाद बनाए मूव से गोल करके फ़्रांस को 3-0 की बढ़त दिला दी.

दूसरे हाफ में भी ज़बरदस्त एक्शन

फ़्रांस
दूसरे हाफ़ में भी फ़्रांस के हमले जारी रहे. हालांकि स्विटज़रलैंड भी एक-दो बार गोल करने के पास पहुंचा लेकिन आख़िर वक़्त में तालमेल की कमी से वो गोल नहीं कर पाए.
67वें मिनट में पॉल पोग्बा की बेहतरीन पास को करीम बेजेंमा ने संभाला जो सही समय पर सही जगह थे और बॉल को गोल पोस्ट में झुला दिया. फ़्रांस की टीम 4-0 से आगे हो चुकी थी और स्विटज़रलैंड की कमर टूट चुकी थी.
73वें मिनट में एक बार फिर बेंजेमा के पास को मूसा सिसोको ने संभाला और स्विटज़रलैंड के गोलकीपर फिर से चकमा खा गए. स्कोर फ़्रांस के पक्ष में 5-0 हो चुका था.
स्टेडियम में बन संवरकर अपनी टीम का उत्साह बढ़ाने आए स्विटज़रलैंड के कई प्रशंसकों के चेहरों पर आंसू साफ़ देखे जा सकते थे.

ज़बरदस्त ड्रामा

फ़्रांस के समर्थक
लेकिन मैच में ड्रामा अब भी बाकी था. 81वें मिनट में स्विटज़रलैंड के ब्लेरिम जेमिली ने गोल करके स्विटज़रलैंड को थोड़ी राहत दी.
87वें मिनट में स्विटज़रलैंड ने एक गोल और कर दिया.
लेकिन इतने ज़ोरदार मैच का सामान्य अंत तो हो ही नहीं सकता था.
बिलकुल आख़िरी मिनट में एक बार फिर फ़्रांस के करीम बेंजेमा ने ज़ोरदार किक लगाकर फ़्रांस का स्कोर 6-2 कर दिया.
लेकिन तभी एंटी क्लाइमेक्स हुआ और पता चला कि बेंजेमा की किक से ठीक पहले रैफ़री मैच समाप्ति का ऐलान कर चुके थे.
इस तरह से फ़्रांस ने 5-2 से मैच में जीत हासिल की.
इसके अलावा ग्रुप ई के एक मैच में इक्वेडोर ने होंडूरास को 2-1 से हरा दिया.

हारा इटली लेकिन बाहर हुआ इंग्लैंड,

कोस्टा रिका का कमाल, इटली बेहाल

 शनिवार, 21 जून, 2014 को 00:14 IST तक के समाचार

इटली बनाम कोस्टा रिका
फ़ीफ़ा विश्व कप से इंग्लैंड बाहर हो गया है.
दरअसल इंग्लैंड की सारी उम्मीदें इटली और कोस्टा रिका के बीच हुए मैच पर टिकी थीं. इटली की जीत, इंग्लैंड को टूर्नामेंट में बने रहने का मौक़ा देती.
लेकिन अपेक्षाकृत कमज़ोर समझी जाने वाली कोस्टा रिका की टीम ने इटली को 1-0 से हरा दिया और इंग्लैंड से बिना खेले ही उसे बाहर का रास्ता दिखा दिया. इस जीत के साथ ही कोस्टा रिका ने अंतिम 16 में जगह बना ली है.
शायद ही किसी ने सोचा होगा कि ग्रुप ऑफ़ डैथ की सबसे कमज़ोर टीम अंतिम 16 में जगह बना लेगी.
अब इस ग्रुप में में अगले दौर में जाने वाली दूसरी टीम का फ़ैसला इटली और उरुग्वे के बीच मैच से होगा.
जो भी टीम वो मैच जीतेगी वो आगे जाएगी.
इंग्लैंड के प्रशंसक
फ़ुटबॉल विशेषज्ञ नोवी कपाड़िया ने कहा, "मुझे लगता है कि रसीफ़ी जहां ये मैच हुआ वहां की तेज़ गर्मी ने इटली को परेशान किया. इटली का रक्षण किले जैसा अभेद्य माना जाता है लेकिन इस मैच में वो ढीला नज़र आया. कोस्टा रिका ने पांच रक्षकों को मैदान में उतार कर इटली के हमलों को विफल किया. साथ ही टीम बड़े जोश में नज़र आई.
कोस्टा रिका और इटली के मैच पर सबकी निगाहें लगीं हुई थीं. कई लोगों की उम्मीद इटली से थी कि वो इस मैच को जीत लेगी,पर कोस्टा रिका ने बाज़ी पलट दी और एक शून्य से इटली को हरा दिया.
कोस्टा रिका 'ग्रुप ऑफ डेथ' के नाम से प्रसिद्ध विश्व कप के सबसे कठिन समूह की सबसे अनुभवहीन टीम है लेकिन टीम ने सारे कयासों को ध्वस्त करते हुए दूसरे चरण में जगह बनाई है.
कोस्टा रिका ने अपने पहले मैच में उरुग्वे को शिकस्त दी थी.

इंग्लैंड का सफ़र ख़त्म

इटली बनाम कोस्टा रिका
इटली की इस हार का मतलब इंग्लैंड का वर्ल्ड कप से बाहर होना है.
इससे पहले, गुरुवार की रात उरुग्वे के हाथों हार के बाद इंग्लैंड के अगले चरण में जाने की उम्मीद इटली के दोनों मैचों में जीत से जुड़ी थी.
कोस्टा रिका ने मैच की शुरुआत से ही अच्छा खेल दिखाया और इटली पर शुरू में ही कई हमले किए.
उनके खेल से लग रहा था कि वह इटली की अनुभवी टीम से बिल्कुल परेशान नहीं है उसने तेज गति ने इटली के खिलाड़ियों को परेशान किए रखा.
44 वें मिनट में ब्रायन रूइस ने गोल करके कोस्टा रिका को इटली पर बढ़त दिलवा दी.
इटली के अनुभवी गोलकीपर गोल को रोकने में नाकाम रहे और गोल का फैसला गोल लाइन तकनीक की मदद से किया गया.
मैच का पहला हॉफ कोस्टा रिका की बढ़त पर समाप्त हुआ.

कोस्टा रिका का तेज़ खेल

कोस्टा रिका के प्रशंसक
दूसरे हॉफ में कोस्टा रिका शुरू में तो तेज़ खेल दिखाया लेकिन सारा ध्यान बढ़त को बनाए रखने पर लगा दिया.
इस हॉफ में इटली को गोल करने के कुछ मौके मिले लेकिन वह इसका फायदा नहीं उठा सकी.
इटली की टीम इस मैच में कुल मिलाकर वो प्रदर्शन नहीं दिखा सकी जिसका प्रदर्शन उन्होंने इंग्लैंड के खिलाफ किया था.
यह किसी भी विश्व कप में दोनों टीमों का पहला मुकाबला था. कोस्टा रिका की टीम इस समय फ़ुटबॉल विश्व रैंकिंग में 28 वें जबकि इटली नौवें नंबर पर है.
इस जीत के बाद कोस्टा रिका दो मैचों में छह अंकों के साथ ग्रुप डी में शीर्ष पर है जबकि इटली और उरुग्वे के दो मैचों में तीन तीन अंक हैं.
इंग्लैंड शून्य अंक के साथ ग्रुप में अंतिम स्थान पर रहा है और उसके लिए विश्व कप का सफ़र ख़त्म हो गया है.
अब इटली को भी अगले दौर में प्रवेश करने के लिए अपना आख़िरी लीग मैच जीतना ज़रूरी हो गया है. अब उसे उरुग्वे का सामना करना है.
1958 के बाद ये पहला मौका है जब इंग्लैंड इस टूर्नामेंट से शुरूआती मुक़ाबलों के बाद ही बाहर हो गया है.

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