Monday, 9 September 2013

मोदी की रैली में मुसलमानों के लिए ड्रेस कोड, ताकि धुव्रीकरण का संदेश न जाए

मोदी की रैली में मुसलमानों के लिए ड्रेस कोड, ताकि धुव्रीकरण का संदेश न जाए

जयपुर, 9 सितम्बर 2013 | अपडेटेड: 09:26 IST

नरेंद्र मोदी
नरेंद्र मोदी
जयपुर की नरेन्द्र मोदी की रैली के लिए बीजेपी ने मुस्लिमों के लिए ड्रेस कोड तय किया है. मोदी की वजह से वोटों के धु्व्रीकरण से डरी राजस्थान बीजेपी नेताओं से ज्यादा से ज्यादा अल्पसंख्यकों को रैली में लाने के लिए कहा गया है. साथ ही ये भी कहा गया है कि मुस्लिम पुरुष स्कल कैप और स्कार्फ पहनकर आएं और महिलाएं बुर्के में आएं. हालांकि वसुंधरा राजे मोदी के बारे में पूछ जाने पर सवालों को टालकर चलती बनीं. राजस्थान की नरेन्द्र मोदी की रैली में 10 सितंबर को होनी है. इस रैली में शामिल होने वाले मुस्लिमों का ड्रेस कोड रखा गया है. यह ड्रेस कोड इसलिए, ताकि विरोधियों को जवाब दिया जा सके. राजस्थान में मोदी को बुलाने से अब तक परहेज कर रही वसुंधरा राजे इस बात से डर रही थी कि अशोक गहलोत से नाराज अल्पसंख्यक कहीं मोदी के आने से वापस कांग्रेस की तरफ न भाग जाएं, लिहाजा अजमेर शरीफ के खादिमों से लेकर बीजेपी अल्पसंख्यक मोर्चे को लगाया गया है. रैली से ये संदेश देने के लिए कि मोदी अल्पसंख्यकों के खिलाफ नहीं, बल्कि मुसलमानों में भी लोकप्रिय हैं. इससे मोदी को भी छवि सुधारने का मौका मिलेगा और वसुंधरा भी मोदी को बुलाकर उनकी नाराजगी दूर कर लेंगी.
राजस्थान बीजेपी के प्रवक्ता कैलाशनाथ भट्ट ने इस बारे में कहा कि लोग अपनी परंपरागत वेषभूषा टोपी, स्कार्फ और बुर्के पहनकर, जो वे त्योहारों पर पहनते हैं, आएं तो बहुत अच्छा होगा. पार्टी ने भी इसका स्वागत किया है.
30 सीटों पर असर डालेंगे अल्पसंख्यक
राजस्थान में करीब 30 सीटों पर अल्पसंख्यक वोटों की सीधा असर है और इस बार गोपालगढ़, उदयपुर और टोंक में हुए दंगों को लेकर अल्पसंख्यकों में गहलोत सरकार से नाराजगी है. वसुंधरा सभी को साथ लेकर चलने की छवि की वजह से इन वोटों पर नजर लगाए बैठी हैं. लेकिन मन से या बेमन बीजेपी के चुनाव अभियान समिति के अध्यक्ष नरेन्द्र मोदी को जयपुर की बीजेपी की रैली में वसुंधरा राजे ने बुला तो लिया है, लेकिन इसका पूरा ख्याल रखा जा रहा है कि बैनर-पोस्टरों में मोदी वसुंधरा से आगे न निकलें.
ज्यादतर पोस्टर अकेले वसुंधरा राजे के हैं. एकाध में मोदी हैं भी तो अन्य नेताओं के साथ पीछे. रैली के लिए 30 मिनट तक जानकारी देते हुए वसुंधरा ने वक्ता के रूप में बस एकबार गुजरात के मुख्यमंत्री के रूप में मोदी का नाम लिया, लेकिन मोदी पर सवाल पूछते हीं खड़ी होकर चल पड़ी.
राजस्थान बीजेपी की प्रदेशअध्यक्ष वसुंधरा राजे ने कहा कि इस सभा को राष्ट्रीय अध्यक्ष राजनाथ सिंह और गुजरात के मुख्यमंत्री नरेन्द्र मोदी भी संबोधित करेंगे. इसमें सभी कार्यकर्ता और 36 कौमों के लोगों को बुलाया गया है.
उधर, मोदी की जयपुर रैली से पहले गुजरात के सामाजिक संगठनों ने जयपुर में सभा कर मोदी सरकार की पोल-पट्टी खोली. इस मौके पर 10 से ज्यादा संगठनों ने दिन भर कई जगहों पर जनता को समझाया कि मोदी की गुजरात विकास की बातें झूठी हैं.
सामाजिक कार्यकर्ता तीस्ता सितलवाड़ ने इस बारे में कहा कि गुजरात में विकास का जो मॉडल दिखता है वो वैसा नहीं है. वहां गरीबी, बेरोजगारी जैसे मुद्दे पर कोई बात नहीं करता. आज तक नरेन्द्र मोदी प्रधानमंत्री बनने चले हैं, गुजरात दंगों पर बात नहीं करते.
बीजेपी का कहना है कि ये रैली बीजेपी के इतिहास में सबसे बड़ी रैली के रूप में जानी जाएगी, लेकिन बीजेपी के इतिहास में ये रैली इसलिए भी जानी जाएगी कि जयपुर की ये पहली रैली होगी जो बिना लालकृष्ण आडवाणी के बिना होगी.


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